अवर सचिव के फर्जी हस्ताक्षर से शिक्षकों के ट्रांसफर आदेश जारी एफआईआर दर्ज करने थाने को लिखा पत्र

रायपुर प्रवक्ता. कॉम 4 मार्च 2025
छत्तीसगढ़ में चुनावी आचार संहिता के खत्म होते ही शिक्षकों के स्थानांतरण किए जाने का एक आदेश सोशल मीडिया में फैल गया , जिसकी सूचना मिलते ही स्कूल शिक्षा विभाग के अवर सचिव आर. पी. वर्मा ने वाइरल आदेश को ही फर्जी बताते हुए इस आदेश झूठा करार दे दिया ।
अवर सचिव ने फर्जी आदेश जारी करने वाले के विरुद्ध एफ़आईआर दर्ज करने थाने को लिखा पत्र –
थाने को लिखे गए पत्र में क्या है?

अवर सचिव आर पी वर्मा ने थाना प्रभारी राखी नवा रायपुर को आज दिनांक04.3.25 को पत्र लिखकर एफ आई आर दर्ज करने का लेख किया है।
फर्जी आदेश का में क्या है –

दिनांक 1.3.25 को जारी आदेश क्रमांक एफ तीन 27/2025/20–3 के अनुसार 6 शिक्षकों का प्रशासनिक स्थानांतरण किया गया है।
जिसके अनुसार गुलाबचंद सागर व्याख्याता एल. बी. रसायन शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सिकागांव विकासखंड केशकाल जिला कोंडागांव का स्थानांतरण शासकीय हाई स्कूल बिरदा विकासखंड करतला जिला कोरबा किया गया है। श्रीमती हीना नायक व्याख्याता एल बी शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय कुर्रा विकासखंड धमतरी जिला धमतरी का स्थानांतरण शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रायपुरा जिला रायपुर , श्रीमती आशिमा साहू व्याख्याता शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय मल्दा विकासखंड नवागढ़ जिला बेमेतरा का स्थानांतरण शासकीय लाल बहादुर शास्त्री उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बिलासपुर किया गया है, श्रीमतीअनामिका तिवारी व्याख्याता शासकीय हाई स्कूल लिमतरा विकासखंड खैरागढ़ जिला राजनांदगांव का स्थानांतरण शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय कोटा विकासखंड कोटा जिला बिलासपुर किया गया है, मनहरण लाल कुंभकार शिक्षक एलबी का स्थानांतरण शासकीय पूर्व माध्यमिक विद्यालय ख़ैरमाल विकासखंड मैनपुर जिला गरियाबंद से शासकीय पूर्व माध्यमिक विद्यालय शिवपुर विकासखंड पाली जिला कोरबा किया गया है, हेमंत कुमार सहायक शिक्षक शासकीय प्राथमिक शाला टांडा विकासखंड धरसीवां जिला रायपुर का स्थानांतरण शासकीय प्राथमिक शाला उफरा विकासखंड पाटन जिला दुर्ग किया गया है।सभी स्थानांतरण प्रशासनिक आधार पर किए गए हैं।
सभी आदेश अवर सचिव आर पी वर्मा के नाम से जारी किए गए हैं।
मुख्यमंत्री ने शिक्षकों के स्थानांतरण के लिए नई पॉलिसी बनाने का दिया निर्देश –
प्रदेश में शिक्षकों के बेतरतीब तरीके से हो रहे स्थानांतरण को रोकने के आदेश मुख्यमंत्री ने लोक शिक्षण संचालनालय में समस्त विभागीय अधिकारियों की बैठक लिया था । बैठक में उन्होंने साफ साफ कहा था कि नेताओं के अनुशंसाओं के आधार पर अब स्थानांतरण नहीं होने चाहिए।
मुख्यमंत्री ने एक पोर्टल बनाकर शिक्षकों के लिए पृथक से स्थानांतरण नीति बनाने के भी निर्देश दिए हैं।
मुख्यमंत्री समन्वय से हुए स्थानांतरण की पारदर्शिता पर सवाल उठने के बाद ऐसा निर्देश देने की जरूरत पड़ी थी।
फर्जी आदेश क्यों और किसने जारी की इसकी जांच अब होगी–
स्थानांतरण के फर्जी आदेश पर खुद अवर सचिव की शिकायत के बाद प्रदेश के शिक्षक भी जानना चाहते हैं ऐसा किसने और किस प्रयोजन से किया था,अगर समय रहते खुलासा नहीं होता तो सच में ये शिक्षक स्कूल से रिलीव होते या नहीं यह पता ही नहीं चलता जांच के बाद यह भी पता लगेगा कि क्या इससे पूर्व भी इस तरह के आदेश फर्जी आदेश जारी तो नहीं किए गए।