
रायपुर प्रवक्ता.कॉम 11 जून 2025
तोषगांव, सरायपाली, जिला महासमुन्द, छत्तीसगढ़: निवासी डॉ. लेख रंजन बी पात्रो, का चयन ज्ञान गंगा इंटरनेशनल अवार्ड के लिए हुआ है । शिक्षा के क्षेत्र में योगदान को सम्मानित करते हुए, उन्हें 13 अगस्त 2025 को राउरकेला ओडिशा में “इंटरनेशनल एजुकेशनल अवार्ड 2025” से विभूषित किया जाएगा। यह गौरव, शिक्षा के प्रति उनकी गहन निष्ठा, नवीन विचारों की उड़ान और उत्कृष्टता की पराकाष्ठा का प्रतीक है।
21 अगस्त 1982 को, अविभाजित मध्यप्रदेश के रायपुर जिले के तोषगांव वर्तमान जिला महासमुन्द (छ.ग) में, डॉ. पात्रो का जन्म हुआ था। उनके माता-पिता, स्वर्गीय गुलाबी पात्रो और स्वर्गीय लोकनाथ बी पात्रो, ने ज्ञान की ज्योति से उनके जीवन को आलोकित किया। उन्होंने सदैव शिक्षा के महत्त्व को रेखांकित किया और डॉ. पात्रो को भी इसी मार्ग पर अग्रसर होने के लिए प्रेरित किया।
अतीत के बाइस वर्षों से, डॉ. पात्रो शिक्षा के क्षेत्र में अनवरत कार्यरत हैं। इस अवधि में, उन्होंने असंख्य विद्यार्थियों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाए हैं। उनकी शिक्षण शैली सदैव नवीन से नवीनतम और विद्यार्थियों के अनुकूल रही है। उन्होंने छात्रों को प्रेरित किया, उन्हें उज्ज्वल भविष्य के लिए तैयार किया, और उनके सपनों को साकार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
इंटरनेशनल एजुकेशनल अवार्ड, शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान देने वाले शिक्षकों को सम्मानित करता है। डॉ. पात्रो का इस पुरस्कार के लिए चयन, उनके कार्यों की सच्ची पहचान है। यह सम्मान न केवल उनके लिए, बल्कि सम्पूर्ण छत्तीसगढ़ राज्य के लिए गौरव का विषय है।
डॉ. पात्रो की उपलब्धिया:
शिक्षण में नवोन्मेष: उन्होंने सदैव नई शिक्षण पद्धतियों को अपनाया, जिससे छात्रों की सीखने की प्रक्रिया अधिक प्रभावी हो सके।
समुदाय के प्रति समर्पण: वे स्थानीय समुदाय में शिक्षा के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन करते रहे हैं।
छात्रों का मार्गदर्शन: उन्होंने अनगिनत छात्रों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने और अपने सपनों को साकार करने के लिए प्रेरित किया है।
डॉ. पात्रो मिलने वाला यह सम्मान सभी शिक्षकों को समर्पित है, जो विद्यार्थियों के भविष्य को संवारने के लिए अथक परिश्रम करते हैं। यह उनके समर्पण और शिक्षा के प्रति अटूट प्रतिबद्धता का प्रतीक है।
डॉ. लेख रंजन बी पात्रो का यह सम्मान, शिक्षा क्षेत्र में उनके उत्कृष्ट योगदान का परिचायक है। यह पुरस्कार, शिक्षा के प्रति समर्पण और नवाचार का एक अनुपम उदाहरण है। यह न केवल उनके लिए, बल्कि सम्पूर्ण शिक्षा जगत के लिए एक प्रेरणा का स्रोत है।